शरीर में खून की कमी को एनीमिया कहते हैं और यह बीमारी अपने साथ कई और भी बीमारियों के होने का खतरा बढ़ा देती है। एनीमिया रोग तब होता है, जब हमारे शरीर में फॉलिक एसिड, आयरन और विटामिन बी 12 की कमी होने लगती है। जिसके कारण रेड ब्लड सेल्स की संख्या में कमी आने लगती और शरीर में खून की कमी हो जाती है।

हमारे खून में रेड ब्लड सेल्स मौजूद होते हैं, जो कोशिकाओं तक ऑक्सीजन पहुंचाने का काम करते हैं। उनमें कमी होने पर एनीमिया का खतरा बढ़ जाता है। एनीमिया के लक्षणों में थकान, चक्कर आना, सांस लेने में तकलीफ और त्वचा का पीलापन शामिल हैं। आइज, जानते हैं इसके इलाज के लिए कुछ घरेलू उपचारों के बारे में।

सहजन की पत्तियां

सहजन की पत्तियों में आयरन की भरपूर मात्रा के अलावा, विटामिन ए, विटामिन सी, कैल्शियम और मैग्नीशियम की मात्रा भी पाई जाती है, जो रक्त संचार को बढ़ाने के साथ हीमोग्लोबिन के निर्माण में भी मदद करते हैं।

चुकंदर

अगर आप एनीमिया के मरीज हैं या आपको अक्सर बहुत कमजोरी महसूस होती है, तो आप चुकंदर का जूस पिएं। चुकंदर, आयरन के अच्छे स्रोतों में से एक है और इसका सेवन एनीमिया के मरीजों के लिए फायदेमंद है। इसमे फोलेट, विटामिन सी, पोटैशियम, मैग्नीशियम, और फाइबर भी पाया जाता है, जो आपके स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है।

पालक

एनीमिया के मरीजों को अपनी डाइट में हरी पत्तेदार सब्जियां खासतौर पर शामिल करनी चाहिए, खासतौर पर पालक। पालक अच्छा आयरन का स्रोत है, जो हीमोग्लोबिन के निर्माण में मदद करता है। यह रक्त में हीमोग्लोबिन के स्तर को बढ़ाने में मदद करता है और इसमें मौजूद विटामिन जैसे पोषक तत्व आपकी इम्यूनिटी का बूस्ट करते हैं।

खजूर

खजूर में आयरन, फाइबर, पोटैशियम और विटामिन पाए जाते हैं। ये सभी न्यूट्रिएंट्स शरीर के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं। इसमें मौजूद शरीर में खून की कमी नहीं होने देती है। खजूर का सेवन करने से आपका हीमोग्लोबिन स्तर बढ़ सकता है।

मछली

मछली में आयरन की सबसे ज्यादा मात्रा पाई जाती है। अगर आप आयरन की कमी को दूर करने के साथ स्वस्थ रहना चाहते हैं, तो मछली का सेवन आपके लिए फायदेमंद है। मछली में आयरन के साथ-साथ ओमेगा-3 फैटी एसिड्स भी पाए जाते हैं, जो हृदय स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद हैं।
डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। यह किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प नहीं हो सकता। ज्यादा जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से संपर्क करें।

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